देवघर। श्रावणी मेले की तीसरी सोमवारी को बाबा बैद्यनाथ की नगरी देवघर में आस्था और श्रद्धा का भव्य संगम देखने को मिला। देशभर से आए लाखों श्रद्धालुओं और कांवरियों की भीड़ ने पूरे बाबाधाम को भगवामय कर दिया। “हर-हर महादेव” और “बोल बम” के जयघोष से सुल्तानगंज से देवघर तक कांवरिया पथ गूंजता रहा। कांवरियों ने बाबा बैद्यनाथ पर जलार्पण कर अपने परिवार और समाज के मंगल की कामना की। इनमें से 100,865 कांवरियों ने मुख्य (आंतरिक) अरघा से और 67,587 कांवरियों ने बाह्य अरघा से जल चढ़ाया। श्रावणी मेले के इस विशेष दिन पर शीघ्रदर्शनम की व्यवस्था स्थगित रही। सुबह बाबा मंदिर के पट खुलते ही सबसे पहले चंदन झा ने प्रथम पूजा की, इसके बाद सरदारी पूजा संपन्न हुई और फिर आम श्रद्धालुओं के लिए पट खोल दिए गए। पट खुलते ही हजारों श्रद्धालु “बोल बम” के जयकारे के साथ जलार्पण की पंक्तियों में शामिल हो गए। बाबा मंदिर परिसर से लेकर शहर के बरमसिया चौक, शिवगंगा मार्ग और बड़ा बाजार तक कांवरियों की लंबी कतारें लगी रहीं। श्रद्धा और भक्ति से ओत-प्रोत कांवरियों की ऊर्जा देखते ही बन रही थी। दुम्मा पहुंचने के बाद कांवरियों का उत्साह चरम पर पहुंच जाता है, जहां से वे तेज गति से बाबाधाम की ओर बढ़ते हैं। कांवर की झंकार और भक्तों की भक्ति ने पूरे रास्ते को आध्यात्मिक ऊर्जा से भर दिया। बाबा पर जल चढ़ाने के बाद कांवरियों के चेहरे पर अद्भुत तेज और सुकून देखने को मिला। श्रद्धालुओं का कहना था कि बाबा का दर्शन और जलार्पण उनके जीवन का सबसे बड़ा सौभाग्य है। प्रशासन की ओर से सुरक्षा और श्रद्धालुओं की सुविधा को लेकर भी व्यापक प्रबंध किए गए थे, ताकि भक्त बिना किसी असुविधा के दर्शन और पूजा कर सकें। तीसरी सोमवारी से पहले का यह रविवार देवघर में आस्था, अध्यात्म और शिवभक्ति का अद्भुत संगम बन गया।
