सूर्या हांसदा मुठभेड़, रिम्स-टू और 130वां संविधान संशोधन पर तकरार, बार-बार रुकी कार्यवाही
रांची। झारखंड विधानसभा में मानसून सत्र के दूसरे दिन सोमवार को जोरदार हंगामा हुआ। विपक्षी भाजपा ने जहां गोड्डा में सूर्या हांसदा के कथित एनकाउंटर के मुद्दे सदन के अंदर-बाहर प्रदर्शन किया, वहीं सत्तारूढ़ झामुमो, कांग्रेस और राजद के विधायकों ने 130वें संविधान संशोधन के विरोध में प्रदर्शन किया। उन्होंने केंद्र की भाजपा सरकार पर ‘वोट चोरी’ के आरोप भी लगाए।
पहली पाली में कार्यवाही शुरू होते ही विपक्षी दलों ने मुठभेड़ की सीबीआई जांच की मांग को लेकर हंगामा किया तो स्पीकर को सदन की कार्यवाही दो बार स्थगित करनी पड़ी। दूसरी पाली में अनुपूरक बजट पर चर्चा शुरू हुई तो इस मुद्दे पर पक्ष-विपक्ष में जोरदार तकरार हुई। भाजपा विधायक सत्येंद्र नाथ तिवारी ने सूर्या हांसदा की तुलना दिवंगत दिशोम गुरु शिबू सोरेन से की। इस पर संसदीय कार्य मंत्री राधाकृष्ण किशोर ने कड़ा ऐतराज जताते हुए कहा कि “सूर्या हांसदा एक अपराधी था, उसकी तुलना शिबू सोरेन जी से करना दुर्भाग्यपूर्ण है।” उन्होंने आसन से भाजपा विधायक के वक्तव्य को रिकॉर्ड से हटाने की मांग भी की।
इस पर नेता प्रतिपक्ष बाबूलाल मरांडी ने पलटवार किया। उन्होंने कहा कि सूर्या हांसदा पर कई आपराधिक मामले जरूर दर्ज थे, लेकिन किसी भी अदालत ने उन्हें दोषी करार नहीं दिया। “अपराधी घोषित करने का अधिकार केवल न्यायालय को है, न कि जनप्रतिनिधियों को। राजनीति में कई बार मुकदमे दर्ज होते हैं, इसका मतलब यह नहीं कि कोई अपराधी हो गया।” मरांडी ने हांसदा को लोकप्रिय नेता बताते हुए कहा कि वे कई बार चुनाव लड़े और अपने क्षेत्र में मजबूत जनाधार रखते थे।
मरांडी ने इस कथित एनकाउंटर की सीबीआई जांच कराने की मांग दोहराई। उन्होंने कहा, “मुख्यमंत्री इसकी अनुशंसा करें, जांच सीबीआई करेगी और सच सामने आ जाएगा। बिना जांच किसी को अपराधी कहना न उचित है और न ही न्यायसंगत।”
