रांची : प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के मणिपुर दौरे को लेकर झारखंड मुक्ति मोर्चा (झामुमो) ने कड़ा प्रहार किया है। झामुमो के केंद्रीय महासचिव सुप्रियो भट्टाचार्य ने रविवार को संवाददाता सम्मेलन कर कहा कि 29 महीने यानी 870 दिनों तक मणिपुर हिंसा की आग में जलता रहा। इस दौरान 960 लोगों की मौत हुई, हजारों घर जले और कुकी-मतेई समुदाय के बीच भयंकर झड़पें होती रहीं। लेकिन इतने लंबे समय तक प्रधानमंत्री मणिपुर जाने से परहेज करते रहे। भट्टाचार्य ने तंज कसते हुए कहा कि “पीएम मोदी ने 44 देशों की 1.70 लाख किलोमीटर की विदेश यात्राएँ कीं, लेकिन दिल्ली से इम्फाल तक 1700 किलोमीटर की दूरी तय करने में 870 दिन लग गए। आखिर क्यों?” उन्होंने आरोप लगाया कि प्रधानमंत्री अचानक मणिपुर की याद सिर्फ इसलिए आई, क्योंकि वहां चुनाव नजदीक हैं। बिहार के बाद अब मणिपुर में भी चुनाव हैं, इसलिए वोट बैंक साधने के लिए पीएम घोषणाओं की बरसात कर रहे हैं। झामुमो नेता ने कहा कि 870 दिनों तक मणिपुर हिंसा में जलता रहा, जबकि प्रधानमंत्री और उनके मंत्री विदेश दौरों में व्यस्त रहे। अब जब चुनाव करीब हैं तो झूठी सहानुभूति दिखाकर वोट लेने का प्रयास किया जा रहा है। भट्टाचार्य ने आरोप लगाया कि मणिपुर की जातीय हिंसा के पीछे बीजेपी की समाज को बांटने वाली राजनीति ही असली वजह है। उन्होंने कहा कि भाजपा के विधायक और मंत्री खुद राज्य को बांटने की बातें करते रहे हैं। इसके उलट झारखंड के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन सभी समुदायों को साथ लेकर विकास की राह पर राज्य को आगे बढ़ा रहे हैं।
