रांची। झारखंड में आदिवासी नेता सूर्या हांसदा एनकाउंटर की सीबीआई जांच और रांची में प्रस्तावित रिम्स-टू अस्पताल के स्थानांतरण की मांग को लेकर भारतीय जनता पार्टी ने गुरुवार को प्रदेश में कई स्थानों पर प्रदर्शन किया।
राजधानी रांची में पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष बाबूलाल मरांडी की अगुवाई में आक्रोश मार्च निकाला गया। यह मार्च जिला स्कूल से शुरू होकर शहीद चौक और कचहरी रोड होते हुए उपायुक्त कार्यालय तक पहुंचा। इसमें विधायक सी.पी. सिंह, महानगर अध्यक्ष वरुण साहू समेत बड़ी संख्या में कार्यकर्ता शामिल हुए।
बाबूलाल मरांडी ने आरोप लगाया कि गोड्डा पुलिस ने आदिवासी नेता सूर्या हांसदा का फर्जी एनकाउंटर किया। उन्होंने कहा कि हांसदा भ्रष्ट अधिकारियों और माफियाओं के खिलाफ आवाज बुलंद कर रहे थे, इसलिए उन्हें इलेक्ट्रिक शॉक देकर मार दिया गया और बाद में गोली मारकर एनकाउंटर का रूप दे दिया गया। उन्होंने कहा, “घटना स्थल पर खून का एक धब्बा भी नहीं मिला, जिससे साफ है कि पहले हत्या की गई और बाद में शव वहां फेंका गया। इस प्रकरण की सच्चाई केवल सीबीआई जांच से सामने आ सकती है। ”
मरांडी ने सूर्या हांसदा को समाजसेवी बताते हुए कहा कि वे चार बार विधानसभा चुनाव लड़ चुके थे और अपने घर में 250 से अधिक गरीब आदिवासी बच्चों की पढ़ाई और आवास-भोजन का इंतजाम करते थे।
रांची के नगड़ी में प्रस्तावित रिम्स-टू मेडिकल कॉलेज का विरोध करते हुए मरांडी ने कहा कि सरकार खेती योग्य भूमि को जबरन अधिग्रहित कर रही है, जबकि राज्य में पर्याप्त बंजर भूमि उपलब्ध है। उन्होंने आरोप लगाया कि आदिवासी हितों की दुहाई देने वाली हेमंत सरकार में सबसे ज्यादा आदिवासी अधिकारों का हनन हो रहा है।
विधायक सीपी सिंह ने कहा कि “ झारखंड की मौजूदा सरकार आदिवासी विरोधी है। कई घटनाक्रमों से यह सच्चाई साफ हो गई है। पूरे राज्य में आदिवासियों की जमीन की लूट बढ़ गई है।”
प्रदेशव्यापी आंदोलन के तहत गिरिडीह जिले के सरिया में कार्यकारी प्रदेश अध्यक्ष डॉ. रवींद्र कुमार के नेतृत्व में प्रदर्शन किया गया। वहीं रांची जिले के अनगड़ा प्रखंड कार्यालय पर राज्यसभा सांसद आदित्य साहू के नेतृत्व में भाजपा नेताओं-कार्यकर्ताओं ने धरना देकर सरकार के खिलाफ नारेबाजी की।
